
उत्तर कोरियाई: उत्तर कोरियाई तानाशाह किम जोंग-उन चीन की चार दिवसीय यात्रा पर हैं। तानाशाह किम अपनी पत्नी री सोल जू के साथ चीन पहुंचे हैं। ऐसे में पूरी दुनिया में किम जोंग की यह यात्रा चर्चा में है। किम जिस ट्रेन से चीन गया वह कोई आम ट्रेन नहीं है। बुलेटफ्रूफ ट्रेन है। किम जोंग उन के पिता और दादा भी साल 2011 में ऐसी ही ट्रेन से चीन की यात्रा पर गए थे।
किम की इस खास ट्रेन की रफ्तार काफी धीमी है और उसमें सफर करने वालों के लिए शराब, झींगा मछली और पोर्क का खास इंतजाम होता है। किम जोंग उन के दादा ट्रेन से ही सफर करते थे, क्योंकि उन्हें फ्लाइट से सफर करने में डर लगता था।
ट्रेन में 21 आलीशान हरे रंग के डिब्बे लगे हैं। ऐसी ही ट्रेन में किम जोंग-उन के पिता किम जोंग-इल भी सफर करते थे, जिसमें यात्रियों के लिए पेरिस की खास शराब, झींगा मछली और पोर्क का खास इंतजाम किया जाता था। हालांकि किम जोंग उन जिस ट्रेन से चीन गया उस ट्रेन में ये सुविधाएं थीं या नहीं इस बात की जानकारी नहीं है।
साल 2011 में रूस के अफसर कोंस्तेंतिन पुलिकोव्स्की ने किम जोंग-इल के साथ इस ट्रेन में चीन तक का सफर किया था। उन्होंने अपनी किताब में लिखा है कि इस ट्रेन में रशियन, चाइनीज, जैपनीज और फ्रेंच डिशेज होती थीं।
इस ट्रेन में अरामदायक सोफे और बेड रहते थे। हर डिब्बे में टीवी स्क्रीन की व्यवस्था होती थी। इसमें बैठकर ऐसा लगता था कि जैसे आप ट्रेन में बैठे हों।
जानकारी के मुताबिक किम के पिता किम जोंग-इल की ट्रेन में उनके मनोरंजन के लिए कुछ महिलाएं भी रहती थीं। जिन्हें ‘लेडी कंडक्टर्स’ के नाम से जाना जाता था।
इस ट्रेन के साथ दो ट्रेनें और भी होती थीं। मुख्य ट्रेन में नेता होते थे। दूसरी ट्रेन एडवांस सिक्योरिटी वाली और तीसरी में एक्सट्रा बॉडीगार्ड और साजो-सामान होता था। इस ट्रेन के सभी डिब्बे बुलेटप्रूफ होते थे इसलिए यह ट्रेन बहुत ज्यादा भारी होती थीं। यह ज्यादा से ज्यादा 60 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चल सकती थीं।
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