दिव्यांगजन सलाहकार बोर्ड के सदस्य सतीश कुमार ने उत्तराखंड राज्य के आवाज बुलंद की…

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सत्‍यम् लाइव, 15 दिसम्बर 2020, उत्तराखंड: काशीपुर( उधम सिंह नगर)अपने ही गृह जनपद में माननीय शिक्षा मंत्री नहीं कर पाए 4 सालों में दिव्यांग बच्चों का भला पिछले कई सालों से दिव्यांग बच्चे लगभग 20000 इस उत्तराखंड राज्य में शिक्षा से वंचित हैं शिक्षा विभाग अपने कार्यों के लिए उत्तराखंड में पहले से ही नाम कमा चुका है जैसे फर्जी शिक्षक का मामला हो या उच्च शिक्षा अधिकारियों की नियुक्ति का मामला या एक एक अधिकारी को चार 4 पदों का चार्ज देने का हो या फिर निदेशक की फर्जी डिग्री का हो ऐसे ही दिव्यांग बच्चों की शिक्षा का मामला है एक ही राज्य में शिक्षा विभाग द्वारा दो नियम चलाए जा रहे हैं |

2015 में राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान में 95 विशेष शिक्षकों की नियुक्ति होनी थी प्रत्येक ब्लॉक में एक-एक शिक्षक की भारत सरकार से वित्त पोषित योजना है परंतु पौड़ी ,देहरादून हरिद्वार टिहरी, चमोली चंपावत पिथौरागढ़ अल्मोड़ा 8 जिलों में उपनल के माध्यम से भर्ती हुई इस समय 31 विशेष शिक्षक इन जिलों में अभी भी कार्यरत हैं अन्य जिलों में एक भी स्पेशल एजुकेटर दिव्यांग बच्चों के लिए नहीं है राज्य सलाहकार बोर्ड के सदस्य श्री चौहान ने बताया कि उत्तराखंड राज्य में 9 जुलाई 2019 से दिव्यांगजन अधिकार अधिनियम लागू है|

इसके अनुसार प्रत्येक बच्चे को भी सामान्य बच्चे के अनुसार शिक्षा प्राप्त करने का अधिकार है इसको विषय को लेकर 19 जुलाई 2019 को विधानसभा में मान्य है यशपाल आर्य जी समाज कल्याण मंत्री की अध्यक्षता में बोर्ड की बैठक हुई तब भी इस मैटर को उठाया गया परंतु आज तक कुछ नहीं हो पाया और कई बार माननीय शिक्षा मंत्री अरविंद पांडे से भी मिल चुका हूं परंतु आश्वासन के अलावा आज तक कुछ नहीं मिला इस संबंध में माननीय प्रधानमंत्री जी को भी 2015 में श्री सतीश कुमार चौहान के द्वारा लिखा गया |

उस पत्र में प्रधानमंत्री जी कार्यालय से जवाब भी आया उसमें कहा गया कि राज्य सरकार इन दिव्यांग बच्चों के लिए विशेष शिक्षक नियुक्त कर सकती है भारत सरकार बजट जारी कर देगी उत्तराखंड में माननीय प्रधानमंत्री जी के दिए हुए शब्द केवल उपहास ही हो रहा है आज भी दिव्यांग बच्चे अपने मूल अधिकार शिक्षा से वंचित हैं सर्व शिक्षा अभियान के अंतर्गत उधम सिंह नगर जिले में लाखों रुपए खर्च हो कर दो रिसोर्स रूम बने थे एक रुद्रपुर में दुसरा बीआरसी काशीपुर में ।

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टेबलेट के अभाव में दोनों रिसोर्स रूम आज तक बंद पड़े हुए थे और इनमें दिव्यांग बच्चों के लिए लाखों रुपए का सामान कचरा हो रहा था 2017 में अनमोल फाउंडेशन एनजीओ के सहयोग से माननीय जिलाधिकारी उधम सिंह नगर डॉक्टर नीरज खैरवाल जी ने एक रिसोर्स रूम काशीपुर का संचालित करने की अनुमति दी अनमोल फाउंडेशन द्वारा इस समय सैकड़ों बच्चों को रोडवेज पास स्पेशल एजुकेशन फिजियोथेरेपी साइन लैंग्वेज आदि निशुल्क उपलब्ध कराई जा रही है और इस समय इस केंद्र पर लगभग 30 बच्चे पंजीकृत हैं सतीश कुमार चौहान सदस्य राज्य दिव्यांग सलाहकार बोर्ड उत्तराखंड

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